
प्रोक्योरमेंट नियमावली 2025 के अहम बिंदु –
● तकनीकी विशिष्टताओं में भारतीय(BIS) मानकों को प्राथमिकता संबंधी प्रावधान जोड़े गए हैं,
● निविदादाताओं द्वारा सत्यनिष्ठा संहिता (code of integrity) का पालन किए जाने संबंधी प्रावधान जोड़े गए हैं
● इलेक्ट्रॉनिक रिवर्स ऑक्शन व repeat order आदि हेतु नियमावली में व्यवस्था की गई है
● सेवाओं (विशेषकर मैनपावर) हेतु न्यूनतम (नॉन ज़ीरो) सर्विस चार्ज (UPNL के बराबर) रखने की व्यवस्था
●परामर्शी सेवाओं के चयन के संदर्भ में एकमुश्त कॉन्ट्रैक्ट, परसेंटेज बेस्ड कॉन्ट्रैक्ट, रिटेनरशिप एंड सक्सेस फीस कॉन्ट्रैक्ट, तथा इंडेफिनिट डिलीवरी कॉन्ट्रैक्ट आदि को अधिप्राप्ति नियमावली में विस्तार पूर्वक जोड़ा गया है
● राष्ट्रीय स्तर के ख्यातिप्राप्त राजकीय संस्थानों की सेवाएँ लिए जाने हेतु नियमावली में व्यवस्था की गई है
● स्क्रैप, निष्प्रयोज वाहन एवं अन्य अनुपयोगी सामग्रियों के निस्तारण एवं बिक्री हेतु व्यवस्था की गई है
निर्माण कार्यों हेतु पंजीकृत ठेकेदारों की विभिन्न श्रेणियों हेतु निर्धारित ठेकों के मूल्य की सीमाओं को बढ़ाया गया है-




अब टेंडर प्रक्रिया होगी पेपरलेस –
उच्च न्यायालय के निर्णयों के क्रम में अधिप्राप्ति नियमावली में SBDs के अंतर्गत EMD को e-BG के माध्यम से अथवा Bid Securing Declaration भी ऑनलाइन जमा करने की व्यवस्था की गई है। जल्द ही IFMS पोर्टल में संशोधन होने के उपरांत यह व्यवस्था लागू हो जाएगी।

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