● DOON MIRROR की RTI में हुआ खुलासा, 2 साल में इतने नाखुश कर्मियों ने खटखटाया हाइकोर्ट व ट्रिब्यूनल का दरवाजा !!
● ऐसा क्या हुआ इन दो सालों में जो पुलिस कर्मियों को लेनी पड़ी कोर्ट की शरण !!
● अगले DGP के लिए यह होगी अहम चुनौतियां !!
प्रदेश में कानून का राज स्थापित करने वाली पुलिस, आज कल अपने ही मामलों में ट्रिब्यूनल व हाइकोर्ट की याचिकाओं में उलझी पड़ी हैं। मामले भी ऐसे कि जिससे विभाग के 75 प्रतिशत से भी ज्यादा फोर्स प्रभावित है।
हाल ही के 2 वर्षों में पुलिस महकमे में एक एक कर सीनियरिटी, प्रमोशन व ग्रेड पे विसंगति के मामलों ने ऐसी रफ्तार पकड़ी कि विभाग के हक-हकूकदारों के पसीने छूटने लगे। कुछ प्रकरणों में सड़कों तक आंदोलन हुआ, अधिकारियों द्वारा मान मनौवल की कोशिशें की गई लेकिन नतीजा यह रहा कि कर्मचारियों ने अंत मे ट्रिब्यूनल व कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है।
DOON MIRROR को RTI में मिली जानकारी के अनुसार 2 वर्षों के भीतर ही यानी 1 जनवरी 2022 के बाद से अब तक विभिन्न प्रकरणों में हाइकोर्ट व ट्रिब्यूनल में 24 याचिका डाली गई। जोकि प्रोमोशन, सीनियोरिटी व ग्रेड पे विसंगति मामले से संबंधित है।
इन 24 याचिकाओं के साथ साथ अन्य पुरानी याचिकाओं से 75 प्रतिशत पुलिस फोर्स प्रभावित है। जिस कारण आज कल लॉ एंड ऑर्डर पर कम व रिट याचिकाओं में ज्यादा उलझी पड़ी है पुलिस फोर्स।
बता दें कि इनमें से प्रमुख मामले 2001 व 2002 कांस्टेबल बैच के ग्रेड पे विसंगति, इंस्पेक्टर से उपाधीक्षक प्रोमोशन, इंसपेक्टरों की वरिष्ठतम सूची, ASI पद पर HC रैंकर का प्रोमोशन विसंगति से संबंधित है।
वंही इन याचिकाओं के कारण अब आने वाले दिनों में विभागीय प्रोमोशनों में भी रफ्तार धीमी हो जाएगी। जब तक ऊपरी पदों पर प्रोमोशन नही होगा तब तक निचले कर्मचारियों को भी अपने प्रोमोशन के लिए भी इन्तेजार करना होगा।
खैर आने वाले दिनों में देखना होगा कि इन प्रकरणों का निस्तारण होगा भी या फिर यह ढर्रा आगे भी ऐसे ही चलता रहेगा।
अगले DGP के लिए यह होगी अहम चुनौती
पुलिस महकमे के लिए इस वक्त सबसे बड़ी गले फ़ांस कर्मचारियों की ही अंदरूनी नाराजगी बनी हुई है। कोई प्रोमोशन न होने से नाराज है तो किसी को उचित ग्रैड पे की आस है। आगामी दिनों में तख्तापलट के बाद प्रदेश के नए DGP को भी पदभार संभालते ही इन चुनौतियों से जूझना पड़ेगा।
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